नई दिल्ली। आईसीसी वर्ल्ड कप 2019 का फाइनल मैच जीतकर इंग्लैंड ट्रॉफी उठा चुका है। हालांकि, आईसीसी एलीट पैनल के पूर्व अंपायर साइमन टॉफेल ने विश्व कप के फाइनल मुकाबले में इंग्लैंड को ओवर थ्रो के 6 रन देने पर सवाल खड़ा किया है।
गौरतलब है कि टॉफेल क्रिकेट इतिहास के सर्वश्रेष्ठ अंपायरों में शुमार रहे हैं और सर्वाधिक बार आईसीसी एलीट पैनल के बेस्ट अंपायर भी रहे हैं। उनके मुताबिक, मार्टिन गप्टिल के ओवर थ्रो पर अंपायर कुमार धर्मसेना ने इंग्लैंड को 1 रन ज्यादा दिए, उन्हें सिर्फ 6 की जगह 5 रन ही देना चाहिए था। यह घटना इंग्लैंड की पारी के आखिरी ओवर में घटी। जब बेन स्टोक्स ने ट्रेंट बोल्ट की बॉल को मिड विकेट की ओर खेला और दो रन के लिए भागे।

सबसे अधिक बार आईसीसी के बेस्ट अंपायर रह चुके हैं साइमन टॉफेल
गप्टिल ने बॉल गैदर करने के बाद स्ट्राइकर एंड की ओर थ्रो किया। बेन स्टोक्स क्रीज में पहुंचने के लिए डाइव लगा रहे थे तभी गप्टिल का थ्रो सीधे आकर उनके बल्ले पर गिरा और शॉर्ट फाइनलेग की ओर चार रन के लिए चला गया। अंपायर कुमार धर्मसेना ने इस गेंद पर ओवर थ्रो के साथ ही दो रन जोड़कर कुल 6 रन इंग्लैंड के खाते में डाल दिए। इस फैसले पर साइमन टॉफेल ने सवाल खड़ा करते हुए कहा, 'यह बहुत बड़ी गलती है। धर्मसेना ने गलत फैसला किया।'

साइमन टॉफेल ने बताया अंपायर कुमार धर्मसेना से कहां हो गई गलती
साइमन टॉफेल ने फॉक्स स्पोर्ट्स को दिए इंटरव्यू में ओवर थ्रो पर पेनल्टी और रनों के जुड़ने का नियम बताया। उन्होंने क्रिकेट के नियम बनाने वाली सर्वोच्च संस्था मेरिलबोन क्रिकेट क्लब (एमसीसी) के रूल बुक कहा हवाला देते हुए कहा...

- आईसीसी के नियम 19.8 के मुताबिक, ओवर थ्रो पर गेंद बाउंड्री पार जाती है तो उसमेें बल्लेबाजों द्वारा पूरे किए गए रन भी जुड़ते हैं।
- अगर बल्लेबाजों ने थ्रो करने से पहले एक-दूसरे को क्रॉस कर लिया है तो ओवर थ्रो में वह रन भी जोड़ा जाता है।
- अगर फील्डर के थ्रो फेंकने से पहले बल्लेबाजों ने एक-दूसरे क्रॉस नहीं किया हो तो वह रन नहीं जोड़ा जाएगा।
गप्टिल ने जब थ्रो किया तो बल्लेबाजों ने एक दूसरे को नहीं किया था क्रॉस
दरअसल, 50वें ओवर की चौथी बॉल पर जब गुप्टिल ने थ्रो फेंका था, तब स्टोक्स और रशीद एक रन पूरा कर चुके थे। हालांकि, जब थ्रो फेंका गया, तब वे दूसरे रन के लिए एक-दूसरे को क्रॉस नहीं कर पाए थे। थ्रो पहुंचने से पहले स्टोक्स क्रीज में पहुंच चुके थे, लेकिन तभी गेंद उनके बल्ले से लगकर बाउंड्री तक चली गई थी।
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टॉफेल के मुताबिक, ऐसी स्थिति में उन्हें केवल 5 रन मिलने चाहिए थे, ना कि 6 रन। टॉफेल ने कहा कि अंपायर एक बार रिप्ले में देखकर यह कंफर्म कर सकते थे कि फील्डर द्वारा थ्रो करने के वक्त दोनों बल्लेबाजों की स्थिति क्या थी। गौरतलब है कि अगर इंग्लैंड को यह एक रन ज्यादा नहीं मिलता तो न्यूजीलैंड आज विश्व विजेता होता।