हैदराबाद (तेलंगाना)। हैदराबाद नगर निगम का विकास राज्य सरकार की सहयोग से ही संभव है। यह बात तेलंगाना राष्ट्र समिति (टीआरएस) के अध्यक्ष व मुख्यमंत्री के रामाराव ने कही। वे यहांं पार्टी मुख्यालय पर नगर निगम के चुनाव के लिए अपनी पार्टी की घोषणापत्र जारी करने के बाद बोल रहे थे। उन्होंने नगर निगम के चुनाव में उनकी पार्टी को एक और मौका देने की मांग की।
सोमवार को मुख्यमंत्री ने घोषणा पत्र में नगर निगम क्षेत्र के 10 लाख पानी उपभोक्ताओं के लिए खुशखबरी सुनाई है। मुख्यमंंत्री ने कहा कि नगर निगम क्षेत्र के 20 हजार लीटर से कम पानी का इस्तेमाल करने वाले उपभोक्ताओं को दिसम्बर से पानी का बिल चुकाने की जरूरत नहीं है।केसीआर ने कहा कि हैदराबाद को देश के सबसे बड़े ऐतिहासिक शहर के रूप में जाना जाता है।
घोषणा पत्र में कहा गया कि आगामी कुछ महीनों में गोदावरी नदी को मुसी नदी से जोड़ा जाएगा और पानी को शुद्ध करने आपूर्ति की जाएगा। उन्होंने बताया कि पेयजल के लिए केशवापुरम में रिजर्वायर का निर्माण किया गया है। राजधानी में आउटर रिंग रोड के निर्माण का वादा किया गया है। फुटपाथ, स्काईवॉक और साइकिल ट्रैक का निर्माण किया जाएगा।
केसीआर ने कहा कि सरकार का लक्ष्य हैदराबाद को जीरो कार्बन सिटी में बदलना है। शहर के चारों ओर अस्पतालों की स्थापना की जायेगी और बस्ती औषधालयों में डाग्नोस्टिक सेवाएं उपलब्ध कराएंगी। मुख्यमंत्री ने निवेश के मामले में हैदराबाद को देश में दूसरे नंबर पर होने का दावा करते हुए कहा कि सैलून, लॉंड्री और धोबीघाटों को मुफ्त बिजली आपूर्ति की जाएगी। कोरोना से संबंधित मोटर वाहन टैक्स निरस्त कर दिया जाएगा। साथ ही दस करोड़ से कम बजट की फिल्मों को जीएसटी में छूट दी जाएगी। इसके अलावा घोषणा पत्र में शमशाबाद एयरपोर्ट जाने के लिए एक्सप्रेस मेट्रो रेल सेवा शुरू करने और 90 किलो एमएमटीएस की सेवाएं विस्तारित करने का वादा किया गया है।
तेलंगाना राष्ट्र समिति ने अपने चुनाव घोषणा पत्र में हाईटेंशन बिजली के तार अंडरग्राउंड बिछाने, बस्तियों में सरकारी मॉडल स्कूल (इंग्लिश), विद्यार्थियों व बेरोजगारों के लिए ई-लाइब्रेरी की व्यवस्था करने की घोषणा की है। इसके अलावा सीनियर सिटिजन्स के लिए हर डिवीजन में लाइब्रेरी, क्लब, योगा, जिम सेंटर की व्यवस्था और बस के फ्री पास दिए जाएंगे। इसके लिए जल्द ही जीएचएमसी कानून लेकर आयेगी।
मुख्यमंत्री केसीआर ने पिछले महीने आई बाढ़ की वजह से नगर में भारी तबाही की पुनरावृत्ति रोकने के लिए बाढ़ के पानी को नियंत्रित करने का मास्टर प्लान बनाने की घोषणा की है। सरकार ने इसके लिए 12 हजार करोड़ रुपये आवंटित करने का ऐलान किया है। उन्होंने बताया कि समग्र सीवरेज मास्टर प्लान, वाटर ट्रीटमेंट प्लांट और ड्रेनेज कार्यों के लिए 13 हजार करोड़ रुपये की लागत से एक कार्य योजना तैयार की गई है।
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